इस साल का विशेष संयोग, मकर राशि में कर रहे है 7 ग्रह एक साथ प्रवेश, जानिए किस पर क्या होगा असर
इस साल वर्ष 2021 में फरवरी माह का महीना बहुत ही विशेष माना जा रहा है। इसके पीछे एक बहुत ही ख़ास कारण है। विश्व प्रसिद्ध ज्योतिष के अनुसार ऐसा माना जा रहा है कि कई दशकों के बाद में एक ही राशि के अंदर पांच से अधिक ग्रह मौजूद रहेंगे। इस साल 11 फरवरी 2021, मंगलवार के दिन एक साथ में सात ग्रहों का मिलन होगा मकर राशि में। ज्योतिषों की गणना माना जा रहा है कि इस दिन मकर राशि में पहले से ही सूर्य, बुध, गुरु, शुक्र, शनि और प्लूटो ग्रह विराजमान है। और इसके साथ में ही चन्द्रमा के साथ जुड़ जाने के बाद इन सातों ग्रहों का बहुत ही अद्भुत संगम हो जाएगा। एस्ट्रोलॉजी कंसल्टेंसी के अनुसार पता लगा है कि फरवरी माह 1962 में भी मकर राशि में सात ग्रह विराजमान थे।
एस्ट्रोलॉजी के अनुसार यह माना जाता है कि यदि किसी भी राशि में अगर एक से अधिक ग्रह एकत्रित हो जाते है तो दुनियाभर में कई प्रकार के बदलाव देखने को मिलते है। यह बदलाव शुभ भी हो सकते है और कुछ हद तक अशुभ भी हो सकते है। 59 साल पहले 4 फरवरी, 1962 को भी ऐसा ही विशेष संयोग देखने को मिला था जब मकर राशि में सात ग्रहों की यति हुई थी। इसके परिणाम स्वरूप यह हुआ था कि चीन ने 20 अक्टूबर 1962 में भारत पर हमला कर दिया था। भारत के अलावा इसी साल रुस और क्यूबा के बीच झगड़े हुए और विश्व की राजनीति का ध्रुवीकरण हुआ।
दिसंबर 2019 में धनु राशि में विराजमान थे पांच ग्रह
इससे पहले ऐसा माना जा रहा है कि सितंबर में 1979 में जब सिंह राशि में पांच ग्रह आए थे तो पंजाब में दो संप्रदाओं के बीच में खुनी झड़प के बाद में से ही उग्रवाद फैलने लगेगा।
इससे पहले ऐसा माना जा रहा है कि सितंबर में 1979 में जब सिंह राशि में पांच ग्रह आए थे तो पंजाब में दो संप्रदाओं के बीच में खुनी झड़प के बाद में से ही उग्रवाद फैलने लगेगा। इसी के दौरान इस्लामिक उथल पुथल शुरू हो गई थी। इसी के साथ में जब 26 दिसम्बर 2019 को भी सूर्य ग्रहण के साथ में धनु राशि में पांच ग्रह आए थे तब कोरोना महामारी का जन्म हुआ था। उसकी वजह से पूरी दुनिया की जीवनशैली बदल गई थी और लाखों लोगो की जान भी चली गई थी और आर्थिक मंदी का दौर भी जारी हो गया था।
क्या है यह मकर राशि में सप्तग्रही योग
यह योग फरवरी 2021 को बन रहा है। और यह विश्वव्यापी होगा। जैसा कि हम जानते है कि सात ग्रहों का अपना अपना व्यवहार और स्वभाव है जिसकी वजह से यह अलग अलग क्षेत्र में अपना अपना प्रभाव दिखाएगे। ऐसा माना जा रहा है कि जनाक्रोश और जनआंदोलन बढ़ेगा। भारत में स्थिति विकट और विकराल हो जाएगी। हिंसा, सांप्रदायिक दंगे, धार्मिक उन्माद, प्राकृतिक आपदाए। जैसे कि भूकंप, समुंद्री तूफ़ान, राजनितिक उठापटक आदि की आशंका है और इन्हे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता।
- खनिज, सोना, चांदी, पेट्रोल, अनाज और जमीन के मूल्यों में अप्रत्याशित वृद्धि की आशंका है।
- कृषि उत्पादन अच्छा रहेगा और किसानों को लाभ होगा।
- ऐसा माना जा रहा है कि सरकार ऐतिहासिक फैसले लेगी जिसके कारण श्रमिक या किसान वर्ग और नाराज हो सकते हैं।
गुरु और शनि अलग होंगे अप्रैल 2021 में
ज्योतिष शास्त्रों के अनुसार ऐसा माना जा रहा है कि 6 अप्रैल 2021 को गुरु और शनि अलग होंगे तब कही जाकर वर्तमान का आंदोलन में कुछ सुधार आएगा। लेकिन शनि ग्रह अप्रैल 2022 तक मकर राशि में ही रहेगा जिस कारण एक आंदोलन समाप्त होगा तो कोई नया आक्रेाश या आंदोलन शुरू हो सकता है। ऐसा भी नहीं है कि भारत में हमेशा स्थिति खराब ही रहेगी, अच्छी भी रहेगी। क्म्यूनिकेशन के क्षेत्र में क्रांति आएगी, सॉफटवेयर, सूचना एवं प्रौद्यागिकी क्षेत्र, सड़क परिवहन, विज्ञान के क्षेत्र में अप्रत्याशित परिवर्तन और प्रगति होगी।
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